महाकुंभ 2025 में SAM ‘युवा कुंभ’ में माँ भारती के वीर सपूतों को श्रद्धांजलि अर्पित की गई

दिव्य गुरुदेव श्री आशुतोष महाराज जी के मार्गदर्शन में दिव्य ज्योति जाग्रति संस्थान (डी.जे.जे.एस) का युवा जाग्रति अभियान “SAM”, ने भारत के अमर शहीदों को श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए ‘बलिदान याद रहे!’ नामक एक भावपूर्ण आयोजन प्रस्तुत किया। इस कार्यक्रम में भगत सिंह, राजगुरु, सुखदेव और उनके क्रांतिकारी साथियों के बलिदानों को नमन किया गया, जिससे हजारों युवाओं के हृदय में राष्ट्र भक्ति की ज्वाला प्रज्वलित की गयी। 
महाकुंभ में आयोजित इस कार्यक्रम में देश भर से असंख्य छात्रों, आध्यात्मिक साधकों व देश भक्तों की उपस्थिति देखी गई। कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य भारत के स्वतंत्रता सेनानियों को सम्मानित करना व आत्मनिर्भर एवं प्रगतिशील राष्ट्र में युवाओं को योगदान देने के लिए प्रेरित करना था| 
सैम के इन-हाउस फ्यूजन रॉक बैंड "Eternal Bliss" ने वेद मंत्रों, लोक धुनों और देशभक्ति संगीत के अनूठे मिश्रण से ऊर्जावान प्रस्तुति देकर माहौल को जोश से भर दिया। इन गीतों ने युवाओं को क्रांतिकारियों के बलिदानों पर विचार करने और राष्ट्र के प्रति अपनी प्रतिबद्धता पर पुनर्विचार करने के लिए प्रेरित किया। ‘Eternal Splendour’ द्वारा प्रस्तुत एक भावपूर्ण नृत्य-नाटिका ने भगत सिंह, राजगुरु और सुखदेव के अंतिम क्षणों को सजीव कर दिया। उनके फांसी के दृश्य का मार्मिक पुनर्निर्माण, साथ ही उनकी आवाज़ में गूंजता "सरफरोशी की तमन्ना", ने दर्शकों की आँखों में आँसू ला दिए। सैम निदेशक ‘साध्वी डॉ शिवानी भारती जी’ के प्रेरणादायक प्रवचनों ने राष्ट्र निर्माण में आध्यात्मिक ज्ञान की अनिवार्यता पर प्रकाश डाला। उन्होंने युवाओं को भगत सिंह व उनके साथियों की तरह अपनी ऊर्जा को व्यक्तिगत महत्वाकांक्षाओं से परे एक उच्च लक्ष्य हेतु समर्पित करने का आग्रह किया।
शाम को बॉलीवुड गायिका और सा रे ग म प 2023 विजेता निष्ठा शर्मा की विशेष प्रस्तुति ने और भी यादगार बना दिया। उन्होंने श्री आशुतोष महाराज जी के प्रति कृतज्ञता व्यक्त करते हुए साझा किया कि कैसे ध्यान ने उनकी सफलता में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। उनकी भावपूर्ण प्रस्तुति ने दर्शकों के हृदय को छू लिया और कार्यक्रम की देशभक्ति भावना को और गहराई दी।
इस प्रेरणादायक देशभक्ति कार्यक्रम में एक विशेष सम्मान समारोह का आयोजन किया गया, जहाँ साध्वी रुची भारती जी (समन्वयक, सैम), स्वामी नरेन्द्रानन्द जी (सचिव, डी.जे.जे.एस) व स्वामी आदित्यानन्द जी (अध्यक्ष, डी.जे.जे.एस) ने गणमान्य अतिथियों को सम्मानित करते हुए उनकी उपस्थिति व योगदान को मान्यता प्रदान की। 
यह आयोजन दर्शकों पर गहरी छाप छोड़ गया, जिसे कई लोगों ने एक अत्यंत भावनात्मक और परिवर्तनकारी अनुभव बताया। अतिथियों और उपस्थित लोगों ने युवाओं में राष्ट्रभक्ति की भावना जागृत करने के लिए सैम के प्रयासों की सराहना की।

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