ग्वालियर। जिले के चीनौर कस्बे में आयोजित हुए दिव्यांग महाकुंभ में मोटराइज्ड ट्राइस्किल, व्हीलचेयर, स्मार्ट फोन, हियरिंग एड, वॉकिंग स्टिक व सीपी चेयर सहित अन्य सहायता उपकरण पाकर दिव्यांगजनों के चेहरे खुशी से खिल गए। साथ ही बहुत से दिव्यांगजन भावुक हो गए। क्षेत्रीय विधायक मोहन सिंह राठौर के मुख्य आतिथ्य में जिला प्रशासन द्वारा एलिम्को (भारतीय कृत्रिम अंग व सहायक उपकरण निर्माण उत्पादन केन्द्र, जबलपुर) एवं सामाजिक न्याय व दिव्यांगजन सशक्तिकरण सहित अन्य विभागों के सहयोग से दिव्यांगजनों की सहायतार्थ आयोजित किए गए इस विशाल शिविर में 515 दिव्यांगजनों को 784 कृत्रिम अंग व सहायक उपकरण के सहयोग से प्रदान किए गए।
इस सेवाभावी आयोजन में विधायक डबरा सुरेश राजे, जनपद पंचायत भितरवार की अध्यक्ष श्रीमती लक्ष्मी, निशक्तजन आयुक्त संदीप रजक, कलेक्टर श्रीमती रुचिका चौहान एवं जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी विवेक कुमार साक्षी बने। इस अवसर पर आयुक्त नि:शक्तजन कल्याण के चलित न्यायालय (मोबाइल कोर्ट) का आयोजन भी किया गया, जिसके माध्यम से दिव्यांगजनों की विभिन्न प्रकार की समस्याओं की सुनवाई की गई। शिविर स्थल पर नए दिव्यांगो के पंजीयन, आयुष्मान कार्ड व यूडीआईडी कार्ड बनाने एवं रोजगारमूलक योजनाओं की जानकारी देने के लिये अलग-अलग काउण्टर बनाए गए थे। साथ ही विभागीय योजनाओं की प्रदर्शनी भी लगाई गई। कार्यक्रम को संबोधित करते हुए विधायक मोहन सिंह राठौर ने कहा कि विकास के मायने केवल सड़कों व भवनों का निर्माण भर नहीं है। सच्चा विकास समाज के सभी वर्गों के जरूरतमंद लोगों की मदद करना है। इसी भाव के साथ प्रधानमंत्री एवं मुख्यमंत्री की मंशा के अनुरूप चीनौर में दिव्यांगों की सहायतार्थ विशाल शिविर का आयोजन किया गया है। उन्होंने इस अवसर पर घोषणा की कि 60 से 80 प्रतिशत दिव्यांगता वाले भितरवार क्षेत्र के दिव्यांगजनों को वे अपनी विधायक निधि से मोटराइज्ड ट्राइस्किल मुहैया करायेंगे। शिविर में भी विधायक निधि से 14 मोटराइज्ड ट्राइस्किल प्रदान की गई हैं। उन्होंने कहा शासन स्तर पर प्रयास करेंगे कि 80 प्रतिशत दिव्यांगता की शर्त हटाकर 60 प्रतिशत दिव्यांगता वाले दिव्यांगजनों को भी मोटराइज्ड ट्राइस्किल प्रदान की जाए।
विधायक सुरेश राजे ने कहा कि जिले में प्रत्येक दिव्यांग तक मदद पहुँचाने के लिये हुई इस पहल की सराहना की। उन्होंने कहा खुशी की बात है कि सहायक उपकरण वितरण प्रदान करने के लिये बड़ी संख्या में शिविर लगाकर दिव्यांगों को चिन्हित किया गया है। आयुक्त निशक्तजन संदीप रजक ने कहा कि सरकार दिव्यांगजनों को दिव्यांग से दिव्यता की ओर ले जाने के लिये हर संभव प्रयास कर रही है। इसी क्रम में चीनौर में इस शिविर का आयोजन किया गया है। उन्होंने कहा कि चीनौर में आयोजित हुए शिविर में जिन दिव्यांगजनों ने पंजीयन कराया है, उन्हें भी आगे शिविर लगाकर उपकरण वितरित किए जायेंगे।
कलेक्टर श्रीमती रुचिका चौहान ने कहा कि यूडीआईडी कार्ड के अभाव में जिले का कोई भी दिव्यांगजन सरकार की योजनाओं के लाभ से वंचित न रहे। इसके लिये मोबाइल वाहन के जरिए गाँव-गाँव जाकर दिव्यांगजनों के यूडीआईडी कार्ड बनाए जायेंगे। मौके पर मौजूद आयुक्त नि:शक्तजन ने इसमें सहयोग करने का भरोसा दिलाया। उन्होंने कहा कि दिव्यांगजनों को सहायता प्रदान करने में मध्यप्रदेश देश के अग्रणी राज्यों में शामिल है। राज्य शासन के दिशा-निर्देशों के तहत ग्वालियर जिले में भी दिव्यांगजनों को कृत्रिम अंग व उपकरण प्रदान किए जा रहे हैं। इसी कड़ी में इस शिविर का आयोजन किया गया है। आरंभ में संयुक्त संचालक सामाजिक न्याय श्रीमती कृति दीक्षित ने शिविर की रूपरेखा पर प्रकाश डाला। उन्होंने बताया कि जिले में निवासरत दिव्यांगजनों को कृत्रिम अंग व सहायक उपकरण प्रदान करने के लिये 23 से 31 अगस्त व 8 से 9 अक्टूबर तक 14 शिविर आयोजित किए गए। इन शिविरों में एलिम्को के सहयोग से दिव्यांगों को चिन्हित किया गया। साथ ही उपकरण प्रदान करने के लिये उनकी माप ली गई।
कार्यक्रम में बड़ी संख्या में जिले भर के दिव्यांगजन शामिल हुए। इस अवसर पर चीनौर ग्राम पंचायत के सरपंच संजय खत्री, एसडीएम भितरवार डीएन सिंह व एसडीएम घाटीगाँव राजीव समाधिया सहित विभिन्न विभागों के जिला स्तरीय अधिकारी मौजूद थे। कार्यक्रम का संचालन भरत शर्मा ने किया।
दिव्यांगजनों को यह सहायता उपकरण सौंपे गए
चीनौर में आयोजित हुए दिव्यांग सहायतार्थ महाकुंभ में 190 ट्राइस्किल, 77 मोटराईज्ड ट्राइस्किल, 18 व्हीलचेयर, 98 हियरिंग एड (कान की मशीन), 54 बड़ी बैसाखी, 50 मध्यम बैसाखी व 2 छोटी बैसाखी, 19 सुगमय केन, 5 स्मार्ट फोन, विभिन्न आयुवर्ग के दिव्यांगों के लिये कुल 80 टीएलएम किट, 110 वॉकिंग स्टिक, 4 सीपी चेयर व 3 रोलेटर उपलब्ध कराए गए।
मोबाइल कोर्ट में दिव्यांगों की इन समस्याओं की हुई सुनवाई
चीनौर में आयोजित हुए आयुक्त नि:शक्तजन के मोबाइल कोर्ट द्वारा दिव्यांगता प्रमाण-पत्र, सहायक उपकरण, पेंशन व छात्रवृत्ति, दिव्यांगजनों को शैक्षणिक संस्थाओं में प्रवेश देने में आरक्षण शासकीय रोजगार व नौकरियों में आरक्षण इत्यादि समस्याओं की सुनवाई की गई। साथ ही दिव्यांग व्यक्तियों को दिव्यांगजन अधिकार अधिनियम के तहत प्रदत्त अधिकारों एवं सुविधाओं से संबंधित शिकायतें, दिव्यांगता के आधार पर भेदभाव संबंधी शिकायतों सहित अन्य ऐसी शिकायतों की सुनवाई भी होगी जो दिव्यांगों के अधिकारों का हनन करने से संबंधित शिकायतें भी सुनी गईं।