
यज्ञ
मे 101 यज्ञ वेदिका बनी हुई हैँ क्षेत्र कि सुख समृद्धि के लिए वेद पुराण
मन्त्रों उच्चारणों के साथ यज्ञ अनुष्ठान किया गया जहाँ पर श्रद्धांलुओं ने
पूजा अर्चना की | यज्ञ मे आस पास के सभी ग्रामो के श्रद्धांलुओं ने एवं
विदेशी श्रद्धांलुओं ने जो की भगवान मतगेश्वर के परम भक्त है ने भी बढ़ चढ़कर
भाग लिया उक्रांइन से आई गणेश भक्त सुश्री नतासा ने अपने यज्ञ के अनुभवों
के बारे मे बताया कि मे शरीर से उक्रांइन कि हूँ पर मेरी आत्मा सनातन धर्म
के परम आदरणीय श्री गणेश जी के ऊर्जा से संचालित है इसलिए मेरे तन एवं मन
मे गणेश पूजन के समय मे एक असीम आध्यात्मिक ऊर्जा महसूस होती है इसलिए मेने
मेरे शरीर पर गणेश जी, शिव जी एवं ॐ नमः शिवाय का टेटू बनवाया हुआ है |
इसलोवेनिया के शिव भक्त श्री टीम एवं उनकी माता श्री उकरेशिया ने यज्ञ स्थल
पर सिद्ध बाबा की सकारात्मक ऊर्जा एवं श्री हरिहर महराज के व्यक्तिव को
साक्षात् मतंग ऋषि के रूप मे उपस्थित बताया | यज्ञ मे बड़ी संख्या मे
उपस्थित संतों कि ऊर्जा को भी महसूस किया | संत प्रिय पंडित सुधीर शर्मा जी
ने बताया कि यज्ञ मे बुंदेलखंड के अलावा दिल्ली, वनारस लखनऊ, मुंबई के
भक्तो के साथ पूज्यनिया दद्दा जी , आचार्य श्री विद्यासागर जी, हनुमत श्री
मन्नत महाराज जी, एवं वात्सल्य दीदी माँ रिताम्भारा जी के शिष्यों ने भी
स्वयं सेवकों के रूप मे भूमिका निभाई | यज्ञ मे ग्राम पाय, चोबर,
विक्रमपुर, भुसका, गोरा, उदयपुरा, जमुनया, के ग्रामीण युवा कार्यकर्ताओं की
एवं महिला स्वयं सेवकों की सराहनीय भूमिका रहीं | यज्ञ परिसर मे पुराण का
आयोजन भी किया गया | यज्ञ स्थल पर कन्याओं को कन्या भोज कराया गया एवं
विशाल भंडारे का आयोजन किया गया | कुछ राजनैतिक लोगो के द्वारा यज्ञ मे
विघ्न डालने की कोशिश की गई ज्ञात हो कि आज से तीस वर्षो पूर्व भी इसी
प्रकार की कोशिशे की गईं थी कि दोनों बार पूर्णतः विफल रहीं क्योंकि कहाँ
गया है कि यज्ञ मे विघ्न डालने के लिए हमेशा राक्षस प्रवत्ती के लोग आते है
पर विफल होते है | इस तरह के आध्यात्मिक कार्यों मे राजनैतिक दलों के लोगो
को आकर एक स्वयं सेवक कि भावना से कार्य करना चाहिए ना कि अपने राजनैतिक
लाभ के लिए अपनी उपस्थित दर्ज करने कि भावना से |